पेपर लीक मामले में SOG के बाद अब ED की एंट्री - आरपीएससी के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग का केस दर्ज, चेयरमैन और सचिव को नोटिस जारी
जयपुर। राजस्थान में राजस्थान लोक सेवा आयोग द्वारा आयोजित वरिष्ठ अध्यापक भर्ती परीक्षा का पेपर लीक होने के मामले में अब ईडी की एंट्री हो गई है। इस संबंध में अब प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने आरपीएससी के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग का केस दर्ज किया है। आरपीएससी के चेयरमैन संजय श्रोत्रिय और सचिव हरजीलाल अटल को ईडी की ओर से नोटिस जारी किए गए हैं। चेयरमैन और सचिव को जवाब तलब किया गया है। आयोग का एक सदस्य बाबूलाल कटारा पेपर लीक प्रकरण में गिरफ्तार भी हो चुका है।
राज्यसभा सांसद डॉ. किरोड़ी लाल मीणा ने की थी ईडी को शिकायत
पेपर लीक मामले को राज्यसभा सांसद डॉ. किरोड़ी लाल मीणा ने बड़े जोर शोर से उठाया था। कई दिनों तक डॉ. मीणा ने आंदोलन किया और पेपर लीक मामले में कई सबूत देकर बड़े खुलासे भी किए। डॉ. किरोड़ीलाल मीणा ने पेपर लीक प्रकरण की जांच सीबीआई से कराने की मांग करने के साथ ही ईडी को भी पत्र भेज कर शिकायत दर्ज कराई थी। अब ईडी ने डॉ. मीणा के पत्र पर एक्शन लेते हुए राजस्थान लोक सेवा आयोग के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग का केस पंजीबद्ध किया और चेयरमैन के साथ सचिव को नोटिस जारी करके जवाब तलब किया है।
कटारा ने 60 लाख में बेचा था पेपर, 50 लाख हो चुके बरामद
पिछले दिनों एसओजी ने पेपर लीक मामले में राजस्थान लोकसेवा आयोग के सदस्य बाबूलाल कटारा को गिरफ्तार किया था। कटारा ने सरकारी स्कूल के वाइस प्रिंसिपल (अब बर्खास्त) शेरसिंह मीणा को 60 रुपए में पेपर बेचा था। एक लाख रुपए के इनामी आरोपी शेर सिंह मीणा और भूपेंद्र सारण पहले से एसओजी की गिरफ्त में है। एसओजी की टीम ने बाबूलाल कटारा के घर से 50 लाख रुपए की नकदी बरामद की थी। साथ ही उनके भांजे विजय के घर से सोने का कड़ा बरामद किया था। गिरफ्तार किए गए आरोपियों से हुई पूछताछ में पता चला कि 50 से ज्यादा अभ्यर्थियों को पेपर बेचा गया और प्रत्येक अभ्यर्थी से 5 से 10 लाख रुपए वसूले गए। इस प्रकरण में करोड़ों रुपए का लेन देन हुआ है।
उदयपुर पुलिस ने किया था खुलासा, बाद में एसओजी कर रही जांच
पेपर लीक प्रकरण का खुलासा सबसे पहले उदयपुर पुलिस ने किया था। 24 दिसंबर 2022 को उदयपुर पुलिस ने निजी बस में बैठे अभ्यर्थियों और दलाल सुरेश बिश्नोई को गिरफ्तार किया था। बाद में कोचिंग सेंटर संचालक सुरेश ढाका और भूपेन्द्र सारण का नाम सामने आया। दोनों आरोपियों पर पुलिस की ओर से 1-1 लाख रुपए के इनाम घोषित किए गए। बाद में शेर सिंह मीणा पर भी एक लाख रुपए का इनाम घोषित किया गया। भूपेन्द्र सारण और शेर सिंह मीणा पुलिस की गिरफ्त में आ चुके हैं लेकिन सुरेश ढाका अभी तक फरार है। इसी प्रकरण में एसओजी ने आरपीएससी सदस्य बाबूलाल कटारा, उनके भांजे विजय और ड्राइवर गोपाल सिंह को भी गिरफ्तार किया जा चुका है।
Comment / Reply From
You May Also Like
Recommended posts
Newsletter
Subscribe to our mailing list to get the new updates!